Delhi IAS Coaching Centre
राजधानी दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में स्थित राव कोचिंग सेंटर में बारिश की वजह से हुए हादसे ने आईएएस (IAS) की तैयारी कर रहे तीन अभ्यर्थियों की जिंदगी को छीन लिया। इस घटना से राव कोचिंग सेंटर कटघरे में आ गया है।
इस मामले में म्यूनिसिपल कॉर्पोरेशन ऑफ दिल्ली (MCD) ने सोमवार को एक्शन लिया। एक जूनियर इंजीनियर को बर्खास्त और एक असिस्टेंट इंजीनियर को सस्पेंड कर दिया। अब तक कुल 7 लोग अरेस्ट हो चुके हैं। तीस हजारी कोर्ट ने आरोपियों को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
बात इस कोचिंग सेंटर की करें तो, राव कोचिंग सेंटर की 70 सालों की मेहनत अचानक अर्श से फर्श तक पहुंच गई है। कई अभ्यर्थियों को अर्श तक पहुंचाने वाला कोचिंग सेंटर अब खुद प्रशासन के शिकंजे में आ गया है। सवाल उठ रहा है कि इतनी मोटी रकम (फीस) लेकर भी छात्रों की जिंदगी से खिलवाड़ किया जा रहा था। जिसके चलते ही तीन होनहार अभ्यर्थियों को अपनी जान गंवानी पड़ी।
राव कोचिंग सेंटर की आधिकारिक वेबसाइट के अनुसार, 70 साल पहले 1953 में डॉ. एस राव ने इस कोचिंग सेंटर की शुरुआत की थी, जो आज तक देश के राज्यों में अभ्यर्थियों को कोचिंग करा रहा है। लिंक्डइन पर राव कोचिंग सेंटर की प्रोफाइल, जिसके अनुसार इस कंपनी में करीब 200 कर्मचारी कार्यरत हैं।
वहीं, वर्तमान में इस कंपनी के सीईओ अभिषेक गुप्ता Abhishek Gupta हैं। अभिषेक गुप्ता पिछले करीब 15 साल से आईएस स्टडी सर्किल के सीईओ हैं। राव कोचिंग सेंटर की दिल्ली, जयपुर और बंगलुरु में ब्रांच हैं।
बता दें कि, 27 जुलाई की रात को बिल्डिंग में पावर कट के कारण बेसमेंट में बनी लाइब्रेरी का बायोमेट्रिक गेट जाम हो गया। स्टूडेंट अंधेरे में लाइब्रेरी के अंदर फंस गए। गेट टूटने के कुछ सेकेंड में ही घुटनों तक पानी भर गया। ऐसे में स्टूडेंट बेंच पर खड़े हो गए। महज 2-3 मिनट में ही पूरे बेसमेंट में 10-12 फीट पानी भर गया। स्टूडेंट को बचाने के लिए रस्सियां फेंकी गईं, लेकिन पानी गंदा था, इसलिए रस्सी दिखाई नहीं दी। देर रात को 3 छात्रों के शव मिले। 14 बच्चों को रस्सियों के सहारे सुरक्षित निकाला गया। रेस्क्यू जब आखिरी चरण में था, तब भी 7 फीट तक पानी अंदर भरा हुआ था।
जिन तीन छात्रों की मौत हुई उनमें उत्तर प्रदेश के अंबेडकर नगर की श्रेया यादव, तेलंगाना की तान्या सोनी और केरल के एर्नाकुलम के निविन दलविन शामिल हैं।