लोकसभा चुनाव के सातवें और अंतिम चरण में 57 लोकसभा सीटों के लिए 1 जून को मतदान होना है। इन सीटों के लिए चुनाव प्रचार 30 मई की शाम 5 बजे थम जाएगा…आखिरी चरण के मतदान से पहले पीएम मोदी कन्याकुमारी पहुंचेंगे और ध्यान लगाएंगे…..
आपको बता दें कि पीएम मोदी के जीवन पर स्वामी विवेकानंद के आदर्शों का काफी प्रभाव है…वो उन्हें अपना आदर्श मानते हैं…उनके बताए रास्ते पर चलने का प्रयास करते हैं….शायद इसीलिए पीएम मोदी इस बार कन्याकुमारी के विवेकानंद रॉक मैमोरियल जा रहे हैं…ताकि विवेकानंद की तरह ध्यान कर सकें….ये वही शिला है जहां स्वामी विवेकानंद ने ध्यान लगाया था…..
जानकारी के मुताबिक पीएम मोदी का 30 मई की शाम तमिलनाडु के कन्याकुमारी पहुंच जाएंगे…वो विवेकानंद रॉक मेमोरियल पर 30 मई की रात से 1 जून की शाम तक ध्यान लगाएंगे…
बताया जाता है कि 1893 में विश्व धर्म सभा में शामिल होने से पहले स्वामी विवेकानंद तमिलनाडु के कन्याकुमारी गए थे…. जहां समुद्र में 500 मीटर दूर पानी के बीच में उन्हें एक विशाल शिला दिखी, उस शिला तक स्वामी विवेकानंद तैरकर पहुंचे और ध्यानमग्न हो गए…. ध्यान करते हुए ही विवेकानंद को ‘भारत माता’ के बारे में दिव्य दृष्टि प्राप्त हुई थी
अब सवाल ये उठता है कि आखिर ये शिला क्या है और क्यों पीएम मोदी इस शिला पर ध्यान करेंगे….
दरअसल
विवेकानंद रॉक तमिलनाडु के कन्याकुमारी में समुद्र में स्थित एक शिला स्मारक है जिसे स्वामी विवेकानंद की याद में बनाया गया….. यह एक फेमस टूरिस्ट स्पॉट है…. जो जमीन तट से करीब 500 मीटर अंदर समुद्र में दो चट्टानों के ऊपर बना है….स्वामी विवेकानंद स्मारक मंदिर बनवाने में RSS के सरकार्यवाह रहे एकनाथ रानडे ने अहम भूमिका निभाई थी…..2 सितंबर 1970 को भारत के तत्कालीन राष्ट्रपति डॉ. वीवी गिरि ने उस स्मारक का उद्घाटन किया….. उद्घाटन समारोह 2 महीने तक चला था….जिसमें तत्कालीन PM इंदिरा गांधी भी शामिल हुई थीं…..
खास बात ये है कि अप्रैल में पड़ने वाली चैत्र पूर्णिमा पर यहां चन्द्रमा और सूर्य दोनों एक साथ एक ही क्षितिज पर आमने-सामने दिखाई देते हैं…. इस स्मारक का प्रवेश द्वार अजंता और एलोरा गुफा मन्दिरों के समान है, जबकि इसका मण्डपम कर्नाटक में बेलूर के श्री रामकृष्ण मन्दिर के जैसा है
बीजेपी नेताओँ की मानें तो यही वो जगह है, जहां पूर्वी और पश्चिमी तटरेखाएं मिलती हैं। यह हिंद महासागर, बंगाल की खाड़ी और अरब सागर का मिलन बिंदु भी है। एक नेता ने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी कन्याकुमारी जाकर राष्ट्रीय एकता का संदेश दे रहे हैं। यह तमिलनाडु के प्रति उनकी गहरी प्रतिबद्धता और स्नेह को भी दर्शाता है।
आपको बता दें कि पीएम मोदी 2019 में भी इसी तरह आखिरी फेज की वोटिंग से पहले केदारनाथ गए थे….जहां बनी रुद्र गुफा में उन्होंने 17 घंटे ध्यान लगा
या था…..